दोस्तों स्वागत है हमारे वेबसाइट पर आज की पोस्ट में हम बात करेंगे Narco Test क्या है? नार्को टेस्ट कैसे किया जाता है?(Narco test kya hai) जैसा आप लोग जानते हैं कि देश में श्रद्धा मर्डर केस काफी तेजी के साथ चर्चा का विषय है उसके कातिल अफताब को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है।
और कोर्ट में पुलिस नार्को टेस्ट (Narco Test) करवाने की मांग कर रही है ताकि आफताब से इस मर्डर केस से जुड़े हुए सभी पहलुओं के बारे में पुलिस जानकारी इकट्ठा कर सके ऐसे में कई लोगों के मन में सवाल आता है कि आखिर में नारको टेस्ट क्या है और यह कैसे होता है अगर आप इसके बारे में कुछ भी नहीं जानते हैं तो हमारे साथ आर्टिकल पर आखिर तक बने रहिए तो चलिए शुरू करते हैं।
Narco Test क्या है? (What is Narco Test in Hindi)
Narco Test के द्वारा पुलिस इस बात की जानकारी हासिल करती है कि अपराधी झूठ बोल रहा है या सच, कई बार ऐसा होता है कि अपराधी पुलिस को पूरी बात बताता नहीं है. ऐसे स्थिति में पुलिस सच जानने के लिए अपराधी का Narco Test करवाती है हालांकि नारको टेस्ट करवाना है इतना आसान नहीं है।
क्योंकि इसके लिए कोर्ट के आदेश की जरूरत पड़ती है तभी जाकर पुलिस अपराधी की नारको टेस्ट करवा सकती है. नारको टेस्ट प्रक्रिया के दौरान व्यक्ति को काफी High Dose वाले दवाइयां दी जाती हैं इसके कारण व्यक्ति नींद की अवस्था में पहुंच जाता है और फिर उस समय पुलिस सवाल-जवाब अपराधी से शुरू करता है ताकि अपराधी झूठ ना बोल पाए और वो सब सच सच बता दे।
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Narco Test कैसे किया जाता है?
नार्को टेस्ट करते समय अपराधी को ट्रुथ ड्रग या Sodium Pentothal का इंजेक्शन दिया जाता है जिसके कारण व्यक्ति को नशा हो जाता है और वह हल्के से नींद की अवस्था में पहुंच जाता है जिसके बाद पुलिस अधिकारी व्यक्ति से सवाल जवाब पूछना शुरु करते हैं उस समय वहां पर मनोचिकित्सक और फॉरेंसिक विभाग के अधिकारी भी उपस्थित रहते हैं।
सबसे बड़ी बात है कि नारकोटेस्ट ऐसे लोगों का ही किया जाता है जो मानसिक रूप से मजबूत होते हैं क्योंकि इस प्रक्रिया में जो मेडिसिन इस्तेमाल किया जाता है वह काफी पावर वाले होते हैं और कई बार साइड इफेक्ट से अपराधी की मौत भी हो सकती है इसलिए नारको टेस्ट करने से पहले अपराधी की मेडिकल जांच की जाती है उसके बाद ही नारको टेस्ट की प्रक्रिया पूरी की जाती है।
Narco Test क्यों किया जाता है?
नारको टेस्ट पुलिस अपराधी से सच उगलवाने के लिए करती है हालांकि नार्को टेस्ट करना इतना आसान नहीं है क्योंकि इसके लिए पुलिस को सबसे पहले कोर्ट से आदेश लेना होगा इसके बाद कोर्ट की तरफ से मनोचिकित्सक और फॉरेंसिक टीम की नियुक्ति की जाएगी जिसकी देखरेख में अपराधी का नारको टेस्ट होगा।
इसके अलावा नारको टेस्ट करने से पहले अपराधी का Medical चेकअप किया जाएगा अगर अपराधी मानसिक रूप से मजबूत और सशक्त है तभी जाकर नार्को टेस्ट किया जाएगा अन्यथा कोर्ट या इससे सम्बंधित अधिकारीयों के द्वारा टेस्ट की अनुमति नहीं दी जाएगी।
नारको टेस्ट करने में कितने दिन लगते हैं?
नारको टेस्ट करने में 1 से 2 दिनों का समय लगता है कुछ कुछ मामलों में नारको टेस्ट करने में 2 दिनों से भी ज्यादा का समय लग सकता है इसकी प्रमुख वजह है कि नारको टेस्ट एक कानूनी प्रक्रिया के अंतर्गत किया जाता है इसलिए सभी प्रकार के कानूनी प्रक्रिया को पूरी होने के बाद ही डॉक्टर के द्वारा नारको टेस्ट किया जाता है।
FAQ’s –
Q. Narco Test क्या है?
Ans – नारको टेस्ट के द्वारा पुलिस इस बात की जानकारी हासिल करती है कि अपराधी झूठ बोल रहा है या सच कई बार ऐसा होता है कि अपराधी पुलिस को पूरी बात सच सच बताता नहीं है ऐसे स्थिति पुलिस सजाने के लिए अपराधी का Narco Test करवाती है। दरअसल नारको टेस्ट में अपराधी को ट्रुथ ड्रग या सोडियम पेंटोथॉल का इंजेक्शन देती है. इसके बाद अपराधी सब कुछ सच सच बोल देता है।
Q. क्या किसी भी व्यक्ति पर Narco test कर सकते हैं?
Ans – जी नहीं ये केवल उन्हीं अपराधियों के साथ किया जाता है जो लाख कोशिश करने के बावजूद भी अपना जुर्म नहीं कबूलते है तो ऐसे स्थिति में सच उगलवाने के लिए ये टेस्ट किया जाता है। और ये किसी भी व्यक्ति पर नहीं किया जा सकता है ये टेस्ट करवाने से पहले कोर्ट या या इससे सम्बंधित उच्च अधिकारीयों से परमिशन लेनी होती है।
Q. नार्को टेस्ट कब किया जाता है?
Ans – आप जानते ही हो हर एक दिन पूरी दुनिया में ना जाने कितने अपराध होते है उनमे से कई गंभीर अपराध जैसे की बलात्कार, हत्या आदि। ऐसे में जब ये अपराधी पुलिस के सामने सच नहीं उगलते है तो इस स्थिति में की कोर्ट या बड़े अधिकारीयों के आदेशनुसार इन अपराधियों का नार्को टेस्ट किया जाता है ताकि इन अपराधियों को कड़ी से कड़ी सजा दी जा सके।
Q. नार्को टेस्ट से क्या पता चलता है?
Ans – अपराधियों से क्राइम से जुड़े सबूत और जानकारी निकालने के उद्देश्य से नार्को टेस्ट की जाती है। नार्को टेस्ट एक डिसेप्शन डिटेक्शन टेस्ट है और ये टेस्ट अपराधी को हिप्नोटिस्म की स्थिति में ले जाता है और उसके बाद अपराधी व्यक्ति से सच निकलवाने के लिए पूछताछ की जाती है।
Q. नार्को टेस्ट में कौन सी दवा दी जाती है?
Ans – नार्को टेस्ट में साइकोएस्टिव दवा दी जाती है। इसे ट्रुथ ड्रग के नाम से भी जाना जाता है। सीमे अपराधी को सोडियम पेंटोथल ड्रग दी जाती है। ये ड्रग कम समय में तेजी से काम करने वाला एनेस्थेटिक ड्रग है।
निष्कर्ष –
तो दोस्तों के ऊपर के लेख में में आपने जाना की नार्को टेस्ट गंभीर अपराधियों की सच्चाई सब के सामने लाने के लिए किया जाता है ताकि गंभीर अपराधियों को उसके अपराध की सजा दी जा सके।
आशा करता हूँ आपको ये आर्टिकल Narco Test क्या है? नार्को टेस्ट कैसे किया जाता है?(Narco test kya hai) अच्छा और ज्ञानवर्धक लगा होगा इसे आप अपने दोस्तों के साथ साथ सोशल मीडिया साइट्स पर भी जरूर शेयर करें। किसी भी प्रकार का सवाल, सुझाव के लिए आप कमेंट जरूर करें धन्यवाद!
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